Fengal cyclone का उत्तर भारत पर असर, क्या दिल्ली-NCR में बढ़ेगी सर्दी या होगी बारिश? जानिए पूरी खबर
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दक्षिण भारत में Fengal cyclone का व्यापक असर देखने को मिल रहा है। तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और पुडुचेरी के कई जिलों में भारी बारिश हो रही है। वहीं, उत्तर भारत का मौसम फिलहाल सामान्य बना हुआ है। दिल्ली-NCR, हरियाणा, पंजाब और उत्तर प्रदेश में इस चक्रवात का कोई खास असर नहीं दिख रहा है। सर्दी पहले जैसी बनी हुई है और बारिश की भी कोई संभावना नहीं है। आइए, विस्तार से जानते हैं कि दिल्ली-NCR सहित उत्तर भारत में मौसम कैसा रहेगा।
दिल्ली-NCR का मौसम: सर्दी बनी रहेगी, बारिश की संभावना नहीं
रविवार सुबह दिल्ली-NCR में न्यूनतम तापमान 11 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जबकि अधिकतम तापमान लगभग 25 डिग्री सेल्सियस रहा। भारतीय मौसम विभाग (IMD) के अनुसार, रविवार को आसमान साफ रहेगा और दिन में धूप खिली रहेगी। आने वाले तीन दिनों यानी सोमवार, मंगलवार और बुधवार को भी मौसम ऐसा ही रहने की उम्मीद है।
फेंगाल चक्रवात का कोई प्रभाव दिल्ली-NCR के मौसम पर नहीं पड़ेगा। यहां सर्दी सामान्य बनी रहेगी और सुबह व रात के समय ठंड का अहसास होगा। फिलहाल, दिल्ली-NCR में बारिश का कोई अलर्ट जारी नहीं किया गया है।
हरियाणा: हिसार सबसे ठंडा जिला
दिल्ली के पड़ोसी राज्य हरियाणा में भी ठंड धीरे-धीरे बढ़ रही है। यहां भी फेंगाल चक्रवात का असर नहीं दिखेगा। हरियाणा के ज्यादातर जिलों में सुबह और रात के समय ठंड महसूस की जा रही है। हिसार राज्य का सबसे ठंडा जिला बना हुआ है, जबकि गुरुग्राम को सबसे गर्म जिला दर्ज किया गया है।
हरियाणा के मौसम विभाग के मुताबिक, आने वाले दिनों में ठंड में और वृद्धि होने की संभावना है। हालांकि, यहां भी बारिश का कोई अनुमान नहीं है।
पंजाब और उत्तर प्रदेश का हाल
पंजाब और उत्तर प्रदेश में भी मौसम सामान्य बना हुआ है। पंजाब के अमृतसर, जालंधर और लुधियाना जैसे शहरों में सुबह और रात के समय हल्की ठंड महसूस हो रही है। वहीं, उत्तर प्रदेश के लखनऊ, वाराणसी और कानपुर में भी ठंड बढ़ने लगी है। दोनों राज्यों में फेंगाल चक्रवात का कोई खास प्रभाव नहीं पड़ा है।
दक्षिण भारत: भारी बारिश से जनजीवन प्रभावित
दक्षिण भारत के तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और पुडुचेरी में फेंगाल चक्रवात के कारण भारी बारिश हो रही है। कई जिलों में जलभराव की स्थिति बन गई है, जिससे आम जनजीवन प्रभावित हो रहा है। IMD ने अगले दो दिनों तक दक्षिण भारत के तटीय क्षेत्रों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है।
तमिलनाडु के चेन्नई और कडलूर जैसे इलाकों में भारी बारिश के कारण यातायात बाधित हुआ है। आंध्र प्रदेश और कर्नाटक के तटीय क्षेत्रों में भी भारी बारिश के कारण जनजीवन प्रभावित हुआ है।
दिल्ली में नवंबर का महीना रहा सबसे गर्म
दिल्ली में नवंबर 2024 का महीना पिछले पांच वर्षों का सबसे गर्म नवंबर रहा। IMD के आंकड़ों के मुताबिक, इस साल नवंबर में औसत न्यूनतम तापमान 14.9 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो लंबे समय के औसत 13 डिग्री सेल्सियस से करीब 2 डिग्री ज्यादा है।
इसी तरह, नवंबर का औसत अधिकतम तापमान 29.5 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से 1.1 डिग्री ज्यादा है। नवंबर के आखिरी सप्ताह से तापमान में गिरावट शुरू हुई और 25 नवंबर को न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया।
सर्दी बढ़ने के आसार, पर बारिश नहीं
मौसम विभाग के मुताबिक, आने वाले दिनों में उत्तर भारत में ठंड में और बढ़ोतरी हो सकती है। हालांकि, फेंगाल चक्रवात का प्रभाव यहां देखने को नहीं मिलेगा। IMD के अनुसार, उत्तर भारत के राज्यों में दिसंबर के पहले सप्ताह तक कोई बड़ा मौसमी बदलाव नहीं होगा।
आने वाले दिनों का मौसम पूर्वानुमान
- दिल्ली-NCR: दिन में धूप रहेगी, रात में हल्की ठंड का अहसास होगा।
- हरियाणा: सुबह और रात के समय ठंड बढ़ेगी। हिसार जैसे जिलों में ठंड ज्यादा होगी।
- पंजाब: ठंड का प्रभाव बढ़ेगा, पर बारिश की कोई संभावना नहीं।
- उत्तर प्रदेश: मौसम सामान्य रहेगा। ठंड में धीरे-धीरे वृद्धि होगी।
चक्रवात फेंगाल: क्या है इसकी वजह?
फेंगाल चक्रवात बंगाल की खाड़ी में बने दबाव क्षेत्र के कारण उत्पन्न हुआ। यह चक्रवात दक्षिण भारत के तटीय क्षेत्रों में भारी बारिश का कारण बना है। हालांकि, यह चक्रवात उत्तर भारत तक नहीं पहुंचेगा, इसलिए यहां इसका कोई असर नहीं दिखेगा।
फेंगाल चक्रवात का प्रभाव केवल दक्षिण भारत के राज्यों तक सीमित है। उत्तर भारत, खासकर दिल्ली-NCR, हरियाणा, पंजाब और उत्तर प्रदेश में मौसम सामान्य बना हुआ है। ठंड धीरे-धीरे बढ़ रही है, लेकिन बारिश की कोई संभावना नहीं है। आने वाले दिनों में उत्तर भारत में ठंड का प्रभाव ज्यादा महसूस किया जाएगा।
दक्षिण भारत में हालांकि, इस चक्रवात के कारण भारी बारिश से जनजीवन प्रभावित हुआ है। ऐसे में, वहां के लोगों को सतर्क रहने और मौसम विभाग के निर्देशों का पालन करने की सलाह दी गई है।